हिमाचल प्रदेश में पल-पल पलटू राम की सरकार चल रही है : जयराम
भाजपा सरकार के समय जो अधिसूचना हुई थी उसमें किसी भी स्थाई पद को समाप्त करने की बात ही नहीं थी
सुख की सरकार में नौजवानों का सब्र टूट गया है और अब तो आने वाले समय में नौकरियों की प्रदेश में कोई संभावना भी नहीं
आपकी खबर, शिमला। 26 अक्तूबर
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री का मीडिया स्पष्टीकरण आज थोड़ी देरी से हुआ क्योंकि उनके पास बैक डेट की अधिसूचना हाथ नहीं आई थी। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश में विचित्र परिस्थितियां चल रही हैं। व्यवस्था परिवर्तन के बजाय व्यवस्था पतन का कार्य चल रहा है ऐसा हिमाचल के इतिहास में पहली बार हुआ है जो कि दुर्भाग्यपूर्ण है।
प्रदेश में एक अधिसूचना जारी होती है फिर उसके ऊपर प्रतिक्रिया आती है और उसके बाद उसको बैक डेट में बदल दिया जाता है, ऐसी ही नोटिफिकेशन हिमाचल प्रदेश में नौकरियां समाप्ति की भी हुई। वैसे तो नोटिफिकेशन 26 अक्टूबर की है लेकिन उसे 23 अक्टूबर की डेट में बनाया गया। जयराम ठाकुर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में पल-पल पलटू राम की सरकार चल रही है। अधिसूचनाओं पर लीपापोती कर ठीक करने का प्रयास लगातार बना हुआ है।
उन्होंने कहा कि जब चुनाव आए थे तो कांग्रेस पार्टी झूठी गारंटीयों का प्रचार कर रही थी, उनके नेताओं ने कहा था कि हिमाचल प्रदेश में 5 लाख नौकरियां, 1 साल में एक लाख नौकरियां और 65000 खाली पदों को भरा जाएगा। पर 2 साल का कार्यकाल समाप्त हो गया है इस सरकार ने सही आंकड़ों के मुताबिक एक भी नौकरी युवाओं को नहीं दी है। यह सरकार जीरो परफॉमेंस वाली सरकार है। कांग्रेस सरकार ने जो वादे किए थे उसके विपरीत ही काम चल रहा है। हैरानी की बात तो यह है की मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री मीडिया को पूरी बातें पढ़कर आने को समझते हैं, ऐसा प्रतीत होता है कि हिमाचल प्रदेश में दो ही लोग ज्ञान के भंडार हैं और हिमाचल प्रदेश में कोई और बुद्धिजीवी इन अधिसूचनाओं को नहीं समझ सकता और विपक्ष तो बिल्कुल भी नहीं।
हम साफ कहना चाहते हैं कि आप दोनों ही ज्ञान का भंडार नहीं है इसको लेकर मैंने मुख्यमंत्री को विधानसभा में भी अनेकों बार टोका है। हम निवेदन करेंगे कि मुख्यमंत्री जी आप पढ़ कर आए, पढ़ने का ज्ञान न दें। उन्होंने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि हिमाचल प्रदेश में अधिकारियों का तांडव मचा हुआ है इसीलिए बार-बार हर बात का स्पष्टीकरण देना पड़ता है।
नौकरी समाप्ति को लेकर अधिसूचना का हिमाचल प्रदेश में व्यापक असर होगा, इसके मुताबिक अपने हिमाचल प्रदेश में 1.50 लाख नौकरियां को समाप्त कर दिया है आप तो 2 साल में 2 लाख नौकरियां देने आए थे पर 1.50 लाख नौकरियां समाप्त कर दी, अब आप केवल मात्र शब्दों के हेर फेर से जनता को गुमराह करने का प्रयास कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि पूर्व प्रो प्रेम कुमार धूमल की भाजपा सरकार के समय जो अधिसूचना हुई थी उसमें किसी भी स्थायी पद को समाप्त करने की बात की नहीं थी, उल्टा पदों को नियमित करने की बात की गई थी। उसमें नौकरियों को बढ़ावा देने की बात की गई थी साथ ही नौकरियां को पक्की नौकरी बनाने की बात की गई थी। इस सुख की सरकार में नौजवानों का सब्र टूट गया है और अब तो आने वाले समय में नौकरियों की हिमाचल प्रदेश में कोई संभावना भी नहीं लगती है, अगर सरकार ने गलती की है तो मुख्यमंत्री उसका दोष दूसरों को ना दो।
उन्होंने कहा कि आप सच बोलना सीखें, आपकी सरकार में तो गलतियों के बिना काम होता ही नहीं है अच्छा होता अगर अपने कैबिनेट रैंक के पद समाप्त किए होते। यह सरकार अधिसूचना की सरकार बन कर रह गई है, टॉयलेट टैक्स अभी तक वापस नहीं लिया गया है पर उसकी अनेकों अधिसूचनाएं निकल गई है, एचआरटीसी लगेज टैक्स की भी अनेकों अधिसूचनाएं हैं।